लंदन:
विजय माल्या ने जेट एयरवेज के फाउंडर नरेश गोयल के प्रति काफ़ी सहानुभूति जताई, साथ ही भारतीय सरकार पर निजी और सरकारी एयरलाइन कंपनियों के बीच भेदभाव करने का बड़ा आरोप लगाया है, विजय माल्या ने कहा की “जेट एयरवेज किंगफिशर एयरलाइन की कॉम्पिटीटर थी लेकिन इतनी बड़ी एयरलाइन अब डूबने की कगार पर है, यह देखकर दुख हो रहा है”
Even though we were fierce competitors, my sympathies go out to Naresh and Neeta Goyal who built Jet Airways that India should be extremely proud of. Fine Airline providing vital connectivity and class service. Sad that so many Airlines have bitten the dust in India. Why ?
— Vijay Mallya (@TheVijayMallya) April 16, 2019
माल्या ने कहा कि सरकार ने एयर इंडिया के बेलआउट के लिए 35 हजार करोड़ रुपए की जनता की राशि इस्तेमाल की। वो सरकारी है सिर्फ इसलिए भेदभाव नहीं होना चाहिए। भारत में कई एयरलाइन नाकाम हो चुकी हैं। आखिर ऐसा क्यों ?
लंदन में रह रहे माल्या ने फिर से कहा कि किंगफिशर ने सरकारी बैंकों से कर्ज लिया, यह सही है। लेकिन, मैंने 100% राशि लौटाने का प्रस्ताव दिया, इसके बावजूद मुझे अपराधी ठहराया जा रहा है।
माल्या ने कहा- मीडिया कहता है कि मैं भारत प्रत्यर्पण से डरा हुआ हूं। मैं लंदन में रहूं या भारत की जेल में, कर्ज चुकाने को तैयार हूं। बैंक मेरा प्रस्ताव स्वीकार क्यों नहीं करते ?
माल्या पर भारतीय बैंकों के 9,000 करोड़ रुपए बकाया हैं। मार्च 2016 में वह लंदन भाग गया। वहां की निचली अदालत और गृह विभाग माल्या के प्रत्यर्पण की मंजूरी दे चुके हैं। प्रत्यर्पण के खिलाफ माल्या की पहली अपील को हाईकोर्ट खारिज कर चुका है। भारत की विशेष अदालत (पीएलएलए) माल्या को भगोड़ा घोषित कर चुकी है।