प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पश्चिम बंगाल के दौरे पर भारी विरोध का सामना करना पड़ रहा है। कोलकाता हवाई अड्डे पर पहुंचते ही सैकड़ों की संख्या में लोगों ने मोदी के खिलाफ नारेबाजी की और उनके इस दौरे का विरोध किया।
हवाई अड्डे के बाहर प्रदर्शन कर रहे यह लोग युवा कांग्रेस के कार्यकर्ता हैं। इसके साथ ही राज्य में जगह-जगह तमाम वामपंथी संगठनों के छात्र छात्राओं ने नरेंद्र मोदी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया और नारेबाजी की।
यादवपुर विश्वविद्यालय की एसएफआई कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन में न सिर्फ नारे लगाए बल्कि अपने हाथों में लिए गए पोस्टर के जरिए मोदी को फासीवादी बताया।
West Bengal: Students' Federation of India protests against PM Narendra Modi's visit to Kolkata. PM Modi will be on a two-day official visit to Kolkata from today, where he will take part in various programmes including 150th anniversary celebrations of Kolkata Port Trust. #CAA pic.twitter.com/F0crHgW6hc
— ANI (@ANI) January 11, 2020
गौरतलब है कि जेएनयू प्रेसिडेंट और एसएफआई कार्यकर्ता आईसी घोष पर जानलेवा हमला करने का आरोप एबीवीपी पर लगा है। गृह मंत्री अमित शाह समेत मोदी सरकार पर आरोप है कि दिल्ली पुलिस के जरिए एबीवीपी की मदद की जा रही है जिससे कैंपस के अंदर और कैंपस के बाहर गुंडागर्दी का माहौल बढ़ता चला जा रहा है।
पीएम मोदी के विरोध में तमाम संगठनों और तमाम मुद्दों में एक चीज कॉमन रही है कि लगभग हर जगह सीए का विरोध करने वाले लोग शामिल रहे हैं। भले ही इस विवादित कानून को लागू करने की अधिसूचना जारी कर दी गई हो लेकिन देश के अलग-अलग हिस्सों में विरोध प्रदर्शन पढ़ते चले जा रहे हैं।
पड़ोसी राज्य असम में विरोध प्रदर्शन की वजह से बिगड़े हालात का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि खुद गृहमंत्री का दौरा एक बार और प्रधानमंत्री का दौरा दो बार रद्द किया जा चुका है।