Breaking
22 Dec 2024, Sun

कश्मीर में पाक की जगह मिसाइल से उड़ाया अपना ही फाइटर, 6 जवान हुए थे शहीद

ARMY LAY DOWN SELF HELICOPTER AFTER BALACOT 1 220519

नई दिल्ली

भारतीय वायु सेना ने अनाधिकारिक तौर पर ये स्वीकार कर लिया है कि पाकिस्तान के साथ हुई झड़प के दौरान भारतीय हेलीकॉप्टर को सेना की मिसाइल ने ही निशाना बनाया था। ये बात तो दबे मुंह पहले भी कही जाती रही है, लेकिन सरकार या सेना ने इस बात को स्वीकार नहीं किया था। आम चुनावों के लिए मतदान प्रक्रिया पूरी हो चुकी है, तब इस बात का सामने आना सवाल खड़े करता है।

एनडीटीवी की खबर के मुताबिक ये घटना 27 फरवरी को उस समय हुई जब कश्मीर के बड़गाम में भारतीय वायु सेना का एमआई-17 हेलीकॉप्टर अपने मिशन पर था। इस हेलीकॉप्टर दुर्घटना में वायु सेना के छह जवान और एक आम नागरिक समेत कुल सात लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी थी। हालांकि इस बारे में पहले भी मीडिया में खबरें आईं थी। जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूख अब्दुल्ला ने भी इस बात का अंदेशा जताया था कि भारतीय होलीकॉप्टर सेना की मिसाइलों का ही शिकार बन गया है। लेकिन इस बात को अब तक दबाकर रखा गया था।

केंद्र सरकार और सेना की ओर से इस बारे में कोई जानकारी नहीं दी गई थी। उस समय इसे आंतरिक जांच का विषय बताकर टाल दिया गया था। अब आम चुनावों के बाद ये बात सामने आ रही है। इसी घटना के दौरान कैप्टन अभिनंदन का मिग विमान पाकिस्तानी सेना का निशाना बना था। उस घटना में अभिनंदन की जान बच गई थी। और वे पाकिस्तान के कब्जे में जा पहुंचे थे। दरअसल अभिनंदन वाले पूरे घटनाक्रम को मीडिया में बहुत ज्यादा तूल दिया गया, जिससे हेलीकॉप्टर की दुर्घटना वाली बात दबकर रह गई।

अभिनंदन का पाकिस्तान की गिरफ्त में आना और फिर सकुशल भारत वापसी को लेकर सरकार ने जमकर अपनी पीठ थपथपाई थी। सरकार ने राष्ट्रवाद की भावना के दोहन में कोई कसर नहीं छोड़ी। मीडिया में भी इसको जमकर भाव दिया गया था। लेकिन हेलीकॉप्टर दुर्घटना वाली बात पर्याप्त कवरेज ना मिलने के चलते आई-गई हो गई थी।

बताया जा रहा है कि शायद ये घटना भारतीय सेना के इतिहास में अपनी तरह के पहली सबसे बड़ी दुर्घटना है। जब आधिकारिक रूप से इसकी पुष्टि कर दी जाएगी तब कई बड़े और परेशान कर देने वाले सवाल खड़े होंगे। भारतीय वायु सेना की प्राथमिक जांच रिपोर्ट से सामने आया है कि इस दौरान बहुत गंभीर किस्म की असावधानियां बरती गईं। ऑपरेशन के सामान्य मानकों का पालन भी नहीं किया गया।

एक अधिकारी ने नाम ना बताने की शर्त पर कहा, “आम चुनाव में सरकार परेशान ना हो इस बात को ध्यान में रखते हुए इस मुद्दे को गुप्त रखा गया था।”

अधिकारी ने कहा, “अब जबकि मतदान हो चुका है, और एग्जिट पोल मोदी की सत्ता में वापसी की ओर संकेत कर रहे हैं। तब सेना के कुछ उच्च अधिकारी इस बात को स्वीकार कर रहे हैं कि हेलीकॉप्टर अपनी ही जमीन से आसमान में मार करने वाली मिसाइल के हमले में दुर्घटनाग्रस्त हुआ है।” उधर खबरों के मुताबिक वायु सेना ने इस कार्रवाई में लिप्त रहे एयर कमांडिंग ऑफिसर को पहले ही हटा दिया था। जांच में जो एक घोर लापरवाही सामने आ रही है वो हेलीकॉप्टर में मौजूद पहचान प्रणाली का बंद होना बताई जा रही है।