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19 Oct 2024, Sat

मुश्किल में भारतीय: कतर पर गल्फ देशों ने आतंकवाद बढ़ाने का आरोप लगाया

रियाद, सऊदी अरब

गल्फ के देशों ने कतर पर आतंकवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाया है। गल्फ के देश सऊदी अरब, बहरीन, यूनाइटेड अरब एमिरेट्स (यूएई) और मिस्र ने कतर से डिप्लोमैटिक रिलेशन खत्म करने का एलान किया है। इस बीच अबु धाबी की एतिहाद और एमिरेट्स एयरलाइंस ने कतर की अपनी सभी उड़ानों को रद्द कर दिया है। कतर ने भी सऊदी जाने वाली उड़ानें सस्पेंड कर दीं है। कतर में रह रहे भारतीयों पर इसका काफी असर पड़ेगा।

सऊदी अरब के एक अधिकारी ने बताया कि हम अपने पड़ोसी मुल्क कतर से रिलेशन खत्म कर रहे हैं। वह आतंकियों को पनाह दे रहा है। साथ ही वहां मुस्लिम ब्रदरहुड, ISIS और अल कायदा जैसे आतंकी संगठन एक्टिव हैं। देश की नेशनल सिक्युरिटी से कोई समझौता नहीं किया जाएगा। सऊदी ने कतर से सारे डिप्लोमैटिक और कॉन्स्युलर रिलेशन फैसला किया है। ये भी कहा है कि कतर के साथ जमीन, समुद्र और फ्लाइट्स के जरिए कोई संपर्क नहीं रखा जाएगा।

कतर पर क्या है आरोप
चारों देशों ने कतर से डिप्लोमैटिक रिलेशन खत्म कर लिए हैं। इन देशों का मानना है कि कतर आतंकवाद को समर्थन देता है। इस फैसले से 36 साल पुराने गल्फ यूनियन में दरार पड़ गई है। बता दें कि सऊदी, यूएई, बहरीन, ओमान और कतर ने गल्फ कोऑपरेशन काउंसिल का गठन किया था। काउंसिल, मिडल ईस्ट में काफी रसूख रखता था।

दुनिया के लिए कतर की कितनी अहमियत
कतर लिक्विफाइड नेचरल गैस (LNG) बेचने वाला दुनिया का सबसे बड़ा देश है। वह दुनिया की एक तिहाई एलएनजी की डिमांड पूरी करता है। करत से भारत हर साल करीब 85 लाख टन गैस खरीदता है। भारत, कतर से एलएनजी खरीदने वाला जापान के बाद दूसरा सबसे बड़ा देश है। कतर का अल-उदैद एयरबेस यूएस मिलिट्री की सेंट्रल कमांड के 10 हजार सैनिक रहते हैं।

कतर पर क्या होगा असर
चारों देशों के फैसले के बाद कतर के डिप्लोमैट्स को 48 घंटे में ये देश छोड़ने होंगे। वहीं, कतर के नागरिकों को 2 हफ्ते का वक्त दिया गया है। साथ ही कतर मिस्र, सऊदी अरब, बहरीन और यूएई के एयरस्पेस और पोर्ट्स का इस्तेमाल नहीं कर सकेगा। एमिरेट्स और एतिहाद एयरलाइंस ने कतर की अपनी सभी उड़ानों को सस्पेंड कर दिया है।

भारत पर होगा असर
भारत के करीब 6 लाख 50 हजार लोग कतर में रहते हैं। ये लोग लाखों डॉलर कमा कर अपने देश भेजते हैं। भारत से कतर जाने पर इसका असर पड़ेगा। हालांकि कि भारत से जाने वाली फ्लाइट्स पर इसका कोई असर नहीं होगा क्योंकि ये फ्लाइस्ट फारस की खाड़ी होकर दोहा जाती हैं। अगर सऊदी समेत कुछ देश कतर जाने वाली फ्लाइट्स पर बैन लगाते भी हैं, तो ये फारस की खाड़ी पर लागू नहीं होगा।