वाराणसी, यूपी
केंद्रीय आयुष राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्रीपद येस्सो नाइक ने वाराणसी में राष्ट्रीय आरोग्य मेले का उद्घाटन किया। आरोग्य मेला यहां बनारस हिंदू विश्वविद्यालय में लगाया गया है। ये मेला आयुर्वेद, योग और प्राकृतिक चिकित्सा, यूनानी, सिद्ध और होम्योपेथी पर आधारित है और चार दिन तक चलेगा।
श्रीपद नाइक ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि काशी अनेक महापुरुषों की जन्मस्थली रही है। पीएम नरेन्द्र मोदी के संसदीय क्षेत्र में आरोग्य मेले के आयोजन से चिकित्सकों, वैद्यों और हकीमों के साथ ही आम जनता को भी काफी फायदा होगा। उन्होंने कहा कि पूरे देश में आयुष विधाओं के शिक्षण संस्थानों की संख्या बढ़ाई जा रही है जिससे इन विधाओं के चिकित्सकों की कमी पूरी की जा सकेगी और आम जनता भी इनसे लाभान्वित होगी।
आयुष मंत्री नाइक ने कहा कि आयुष मंत्रालय ने अनेक देशों के साथ द्विपक्षीय सहयोग समझौते किए हैं जिनसे आयुष क्षेत्र की कार्यविधि को और बेहतर बनाया जा सकेगा। आयुष क्षेत्र में कौशल विकास को बढ़ावा देने से देश को चिकित्सीय क्षेत्र में तो लाभ होगा ही साथ ही युवाओं को रोजगार भी मिल सकेगा।
आयुष मंत्रालय के संयुक्त सचिव अनिल गनेरीवाला ने अपने संबोधन में मंत्रालय की कार्यप्रणाली के विषय में जानकारी दी और ऐसे मेलों के आयोजन को जनोपयोगी बताया। इस मेले का उद्देश्य आयुष प्रणाली की कुशलता और किफायत तथा सामान्य बीमारियों से बचाव एवं उपचार के लिए उपयोग में आने वाली जड़ी-बूटियों एवं पौधों की उपलब्धता के बारे में आम लोगों की जागरूकता को बढ़ाना है। यह सुविधा लोगों को विभिन्न जनसूचना माध्यमों के जरिये उनके दरवाजे पर ही उपलब्ध हो जाती है और इससे सभी लोगों के लिए स्वास्थ्य के लक्ष्य को अर्जित करने में भी सहायता मिलती है।
वाराणसी में इस मेले का आयोजन आयुष मंत्रालय ने उत्तर प्रदेश सरकार, बीएचयू और फिक्की के सहयोग से किया है। आरोग्य मेला आयुष के सभी विधाओं को प्रदर्शित करने के मकसद से एक साथ आने के लिए आयुष के सभी हितधारकों को एक व्यापक मंच मुहैया कराता है। कार्यक्रम में बीएचयू के कुलपति गिरीशचन्द्र त्रिपाठी सहित आयुष क्षेत्र से जुडे कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।