गुवाहाटी, असम
असम के राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर का फाइनल ड्राफ्ट सोमवार सुबह जारी कर दिया गया। एनआरसी के समन्यक प्रतीक हाजेला ने यह ड्राफ्ट जारी करते हुए बताया कि 3.29 करोड़ आवेदकों में से 2.90 करोड़ वैध नागरिक पाए गए हैं। इसका मतलब हुआ कि इस फाइनल ड्राफ्ट में करीब 40 लाख लोगों के नाम नहीं है।
एनआरसी के इस फाइनल ड्राफ्ट में बीजेपी विधायक रमाकांत देउरी और उनके परिवार के अन्य सदस्यों का भी नाम गायब है। इसके अलावा सेना के पूर्व अधिकारी अजमल हक, मुख्यमंत्री के सुरक्षा दस्ते में रह चुके सहायक पुलिस निरीक्षक (ASI) शाह आलम का नाम भी नदारद है।
इस मुद्दे पर राज्य के अलावा केंद्र की सियासत भी गरमाने लगी है। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने जहां इसे बीजेपी की साजिश करार दिया, जबकि गृह मंत्री राजनाथ सिंह का कहना है कि यह ड्राफ्ट सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में बनाया गया और इसमें केंद्र का कोई हस्तक्षेप नहीं था।
इस एनआरसी ड्राफ्ट को देखते हुए कानून-व्यवस्था को बनाए रखने के लिए समूचे राज्य में सुरक्षा बढ़ा दी गई है. सात जिलों- बारपेटा, दरांग, दीमा, हसाओ, सोनितपुर, करीमगंज, गोलाघाट और धुबरी में सीआरपीसी की धारा 144 लगा दी गई है।