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22 Nov 2024, Fri

यूपी में पहली चुनावी रैली में गरजे ओवैसी

फैज़ाबाद, यूपी

एमआईएम को अध्यक्ष और हैदराबाद के सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कहा है कि मुझे तीन साल साल से यूपी आने से रोका जा रहा था। इस दौरान 14 बार मैंने यूपी आने की कोशिश की लेकिन समाजवादी पार्टी की सरकार ने मुझे आने नहीं दिया। अब मैं यूपी आ चुका हूं। सपा और उसके मुखिया मुलायम सिंह की नींद उड़ा दूंगा। असदुद्दीन ओवैसी ने ये बाते फैज़ाबाद के बीकापुर में हो रहे विधान सभा के उपचुनाव में पार्टी की तरफ से आयोजित रैली में बोल रहे थे।

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एमआईएम की चुनावी रैली फैज़ाबाद से 12 किसी दूर भदरसा में आयोजित की गई थी। विधान सभा की ये सामान्य सीट है लेकिन एमआईएम ने यहां दलित प्रदीप कुमार कोरी को उम्मीदवार बनाया है। बीएसपी उपचुनाव में नहीं उतरी है।

रैली में ओवैसी ने सपा सरकार पर जमकर निशाना साधा। सांसद ओवैसी ने कहा कि समाजवादी पार्टी मुलायम सिंह यादव की प्राइवेट कंपनी है जो अब बंद होने वाली है। उन्होंने कहा कि सपा नेता कहते हैं कि उन्हीं लोगों को बोलने देंगे जो पार्टी के साथ होंगे।

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ओवैसी ने कहा कि डा राम मनोहर लोहिया का इतिहास मैंने पढ़ा है, मुलायम सिंह को लोहिया के बारे में पता ही नहीं है। ओवैसी ने कहा कि मुलायम सिंह यादव जैसे लोग मुझ पर आईएस और आतंकवादी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाते रहे हैं। कोई इसको साबित कर दे तो मैं राजनीति छोड़ दूंगा।

प्रदेश सरकार की आलोचना करते हुए ओवैसी ने कहा कि अखिलेश सरकार में सबसे ज्यादा जुल्म दलितों और मुसलमानों पर हुआ है। मुजफ्फरनगर दंगा इसका हिस्सा है, जिसमें 50 हज़ार मुसलमानों को घर छोड़ना पड़ा। अब मैं ऐसा नहीं होने दूंगा। सपा तो बाबा साहब डॉ अंबेडकर की तारीफ करती है, लेकिन दलितों के सपनों को कुचलने में लगी रहती है।

लखनऊ एयरपोर्ट से बाहर आते एमआईएम के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी
लखनऊ एयरपोर्ट से बाहर आते एमआईएम के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी

असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि पठानकोट हमले के लिए मोदी सरकार पूरी तरह ज़िम्मेदार है जिसकी लापरवाही से ये हमला हुआ। दलित छात्र रोहित वेमुला की मौत पर पीएम मोदी को कटघरे में खड़ा करते हुए सवाल किया कि क्या वह न्याय की बात कर रहे हैं। आखिर कुलपति को निलंबित क्यों नहीं किया गया और मंत्री के खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं हुई। रोहित ने इसलिए आत्महत्या की कि शैक्षणि‍क संस्थानों में अगड़ी जाति के लोग दलितों को दबाने की कोशि‍श करते हैं। प्रधानमंत्री जब लखनऊ आए तो भाषण के दौरान भावुक हो गए। एक मिनट के लिए चुप हो गए, तो मुझे तो ऐसा लगा जैसे फिल्म ‘मुगल-ए-आजम’ का कोई सीन चल रहा हो।