लखनऊ ब्यूरो
कौमी एकता दल ने नफरत की राजनीति करने वालों का विरोध करने का निर्णय लिया है। पार्टी की लखनऊ ज़िला इकाई की मीटिंग में तय किया गया कि पार्टी कार्यकर्ता घर घर जाकर लोगों को समझाएंगे और नफरत और दंगों की राजनीति करने वालों के बेनकाब करेंगे।
पार्टी की लखनऊ ज़िला इकाई का बैठक दारुलशफा के बी ब्लाक कामन हाल में हुई। इस बैठक में प्रदेश अध्यक्ष तारिक शमीम खास तौर पर मौजूद थे। कार्यक्रम की शुरुआत डॉ बी आर अम्बेडकर की जयन्ती पर उन्हें याद किया गया। प्रदेश अध्यक्ष ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि केंद्र में जब से बीजेपी की सरकार आई है, तभी से देश के माहौल में तनाव देखा जा रहा है। कुछ लोगों को नफरत फैलाने का लाइसेंस दे दिया गया है। शिवसेना, हिंदू महासभा और एमआईएम की आलोचना करते हुए तारिक शमीम ने कहा कि इस मुल्क में सभी धर्मों के लोग सैकड़ों साल से एक साथ रह रहे हैं, लेकिन अपने निजी फायदे के लिए कुछ लोग इन्हें बांटना चाहते हैं। ऐसे लोग अपने मकसद में कभी कामयाब नहीं होंगे।
पार्टी के ज़िला अध्यक्ष डॉ शहज़ाद आलम ने कहा कि शिवसेना और एमआईएम एक सिक्के के दो पहलूं हैं। ज़िला अध्यक्ष ने शिवसेना के उस बयान की तीखी आलोचना की जिसमें मुसलमानों से वोट का अधिकार छीनने की बात कही गई है। उन्होंने लोगों से अपील की कि ऐसे लोगों के बयान पर ध्यान न दें, क्योंकि इससे मुल्क की तरक्की और आपसी भाईचारा को खतरा है।
बैठक में शहर अध्यक्ष अजय गुप्ता ने हिंदू महासभा की तीखी आलोचना की। उन्होंने कहा कि भारत एक सेक्यूलर मुल्क है और ऐसे बयानों से पूरे दुनिया में भारत की छवि खराब हो रही है। उन्होंने कहा कि भारत एक लोकतांत्रिक देश है जहां सबकों जीने का अधिकार है, पर ऐसे लोग दीमक की तरह देश को कमज़ोर कर रहे हैं।
कार्यक्रम को पश्चिम विधान सभा अध्यक्ष असगर समेत कई लोगों ने संबोधित किया। कार्यक्रम में मुख्य रूप से ज़िला उपाध्यक्ष जफर मसूद, ज़िला महासचिव दयाशंकर पांडे, मीडिया प्रभारी फुरकान कान, युवा ज़िला अध्यक्ष जीशान अहमद रेशू, चंद्र प्रकाश, मो उबैदुल्ला, अमन खान, शारिक अली, रितेश सिंह राजपूत समेत सैकड़ों कार्यकर्ता मौजूद थे।
Superb
Thankx Dr. Fazlur Rahman Daudi